कृषि प्रधान देश मे हम,
अभी भी बहुत हम पीछे हैं ।
दुनिया की आर्थिक बृद्धि मे हम,
उन सबसे काफी नीचे हैं ॥
जब तक सरकारी नीतियों में,
कोई बदलाव नहीं होगा ।
लालाफीता शाही का अंत,
और भ्रष्टाचार बंद नही होगा ॥
बढ़ती बेरोजगारी से बचने के लिये,
औद्योगिक क्रांति लाना जरुरी है ।
कुछ बिषम परिस्थितियों मे भी,
निर्णय लेना मजबूरी है ॥
कुछ उदारवादी नीतियां,
कम्पनियों के लिये भी बनाई जायें ।
जहां जंगल-जमीन का भय न हो,
उन्हें इसकी गारंटी दिलाई जाये ॥
माल बनाने का काम,
हम सभी लोगों का हो ।
पर विश्वस्तर पर बाजार ढूढ़ना,
यह काम तो सरकार का हो ॥
लोगों को आलसी बनाने की नीति,
ये सब खत्म किया जाये ।
हर हाथ को कोई काम हो,
ऐसा खोज किया जाये ॥
कृषि उत्पादन बढ़ाने के लिये,
नित नये प्रयास किये जायें ।
छोटे-छोटे कुटीर उद्योगों मे भी,
समुचित ध्यान दिया जाये ॥
तकनिकी शिक्षा पे उचित ध्यान,
और उनके लिये उद्योग लगाये जायें ।
बेरोजगारों को देकर रोजगार से,
अपने भारत को मजबूत बनाया जाये ॥
कृषि प्रधान देश मे हम,
अभी भी बहुत हम पीछे हैं ।
दुनिया की आर्थिक बृद्धि मे हम,
उन सबसे काफी नीचे हैं ॥
मोहन श्रीवास्तव (कवि)
www.kavyapushpanjali.blogspot.com
28-12-2013,Saturday,12;00
noon,(825),
between
Gondiya to Durg Rly stn.
In
Pune-Bilaspur expss train,
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