खेलों मे खेल क्रिकेट खेल,
जिसके सामने सभी खेल, फ़ीके पड़ जाते हैं ।
जाड़ा, गर्मी या हो बरसात,
इसकी बुखार से, सभी अकड़ जाते हैं ॥
तारीखें मैच की रखे जाने से,
लोग परिणाम की, तैय्यारी करने लगते ।
कौन सी टीम मैच जीतेगा,
इस गणित मे, सभी उलझे रहते ॥
पर कुछ गद्दार, चंद रुपयों की खातिर,
वे मैच फ़िक्सिंग कर पैसा कमाते हैं ।
खेल प्रेमियों के, दिलों को वे,
पल भर मे ,आहत कर कर जाते हैं ॥
ऐसे खेल द्रोहियों को, पकड़-पकड़ के,
इनका लम्बा ,पी.सी.आर लिया जाये ।
इनको इतनी सजा मिले कि,
और भी कोई ,ऐसी गलती न कर पाये ॥
ये खिलाड़ी नही खेल के ये,
ये खेलों के हत्यारे हैं ।
लोगों के दिलों को दुखाया है,
ये दुश्मन सभी हमारे हैं ॥
हो सकता है,इस तरह के खेलों मे,
और गद्दार छुपे होंगे ।
चंद पैसों की लालच मे,
वे अपने ईमान बेचते होंगे ॥
मोहन श्रीवास्तव (कवि)
www.kavyapushpanjali.blogspot.com
दिनांक-२३-०५-२०१३,बृहस्पतिवार,
१.३० बजे दोपहर,
पुणे, महाराष्ट्र
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